
Mumbai News. मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने मंगलवार को विधानसभा में कहा कि नागपुर में सोमवार को हुई हिंसा साजिश प्रतीत होती है। इस घटना में पुलिस उपायुक्त (डीसीपी) स्तर के तीन अधिकारियों सहित 33 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं। उन्होंने कहा कि जिन लोगों ने पुलिस पर हमला किया है, इस घटना को अंजाम दिया है, उन्हें किसी भी कीमत पर नहीं बख्शा जाएगा। इसके साथ ही फडणवीस ने राज्य के लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है। फडणवीस ने कहा कि हाल ही में प्रदर्शित फिल्म छावा में औरंगजेब की क्रूरता का सच उजागर करती है। मराठा साम्राज्य के संस्थापक छत्रपति शिवाजी महाराज के पुत्र छत्रपति संभाजी को औरंगजेब ने प्रताड़ित कर मरवा दिया था। यह फिल्म देखने के बाद
मुगल शासक के खिलाफ लोगों की भावनाएं जाग गई हैं। वहीं उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष हर्षवर्धन सपकाल पर निशाना साधते हुए कहा कि मुख्यमंत्री फडणवीस की तुलना औरंगजेब से करने पर उन्हें तत्काल माफी मांगनी चाहिए। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि इस तरह का बयान स्वीकार्य नहीं है।
पुलिस पर कुल्हाड़ी से हमला
फडणवीस ने विधानसभा में बताया कि हमलावरों ने हमलावरों ने पुलिस पर कुल्हाडी से वार किया। एक डीसीपी पर कुल्हाड़ी से हमला करने की जानकारी मिली है। इस घटना में एक क्रेन, दो जेसीबी और कुछ चार पहिया वाहन जल गए हैं। हिंसा को लेकर पांच मामले दर्ज किए गए हैं। नागपुर के 11 पुलिस स्टेशनों की सीमा में कर्फ्यू लागू है। एसआरपीएफ की पांच टीमें मौके पर तैनात की गई हैं। एक ट्रॉली भरी ईंटें बरामद हुई हैं, जो साजिश की ओर इशारा करती है।
मणिपुर की राह पर महाराष्ट्र: आदित्य
शिवसेना (उद्धव) विधायक आदित्य ठाकरे ने नागपुर में हुई हिंसा पर राज्य सरकार को घेरते हुए कहा कि मणिपुर में कानून-व्यवस्था बिगड़ी हुई है। अब महाराष्ट्र भी मणिपुर की राह पर चल पड़ा है। आदित्य ने कहा कि इसके लिए महाराष्ट्र सरकार के मंत्री और मुख्यमंत्री जिम्मेदार हैं।
मैं मुख्यमंत्री का लाडला मंत्री हूं: राणे
दो दिन पहले राज्य के मंत्री नितेश राणे ने औरंगजेब की कब्र को लेकर विवादित बयान दिया था। इसके बाद विपक्ष ने उन पर दंगा भड़काने का आरोप लगाया था। राणे ने मंगलवार को कहा कि मैं मुख्यमंत्री का लाडला मंत्री हूं, इसलिए वह मुझे क्यों फटकार लगाएंगे
उपराजधानी में कैसे भड़की हिंसा
फडणवीस ने बताया कि सोमवार को दोपहर से पहले 11.30 बजे विश्व हिंदू परिषद (विहिप) और बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने नागपुर के महल इलाके में औरंगजेब की कब्र हटाने की मांग को लेकर प्रदर्शन किया। उन्होंने घास-फूस से एक प्रतीकात्मक कब्र भी बनाई और उसमें आग लगा दी। दोपहर में गणेश पेठ पुलिस थाने में कार्यकर्ताओं के खिलाफ मामला दर्ज किया गया। शाम तक यह अफवाह फैल गई कि जिस प्रतीकात्मक कब्र में आग लगाई गई है, उसमें कुछ धार्मिक सामग्री है। इसके बाद भीड़ ने नारेबाजी शुरू कर दी। पुलिस ने हल्का बल प्रयोग किया। जब पुलिस की कार्रवाई चल रही थी, तब हंसपुरी में 200-300 लोगों ने पथराव किया। उनके चेहरे ढके हुए थे। तीसरी घटना शाम साढ़े सात बजे भालदारपुरा में हुई, जहां 80 से 100 लोगों की भीड़ ने पुलिस पर हमला कर दिया।
घरों पर फेंके गए पत्थर
उपमुख्यमंत्री शिंदे ने बताया कि लोगों के घरों में बड़े-बड़े पत्थर फेंके गए। एक अस्पताल में तोड़फोड़ की गई। अस्पताल में देवताओं की तस्वीरें जलाई गईं। पेट्रोल बम फेंके गए, कारों, मोटरसाइकिलों को आग लगा दी गई। शिंदे ने कहा कि राज्य छत्रपति शिवाजी और छत्रपति संभाजी का अपमान बर्दाश्त नहीं करेगा।