
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर में एलओसी पर परेशानियों के बीच भारत और पाकिस्तान के बीच पुंछ सेक्टर में आज फ्लैग मीटिंग हुई है। आखिरी मीटिंग करीब 4 साल पहले 2021 में हुई थी। जम्मू-कश्मीर में बीते कई हफ्तों से एलओसी पर तनावपूर्ण माहौल बना हुआ है। सेना की तरफ से 4 फरवरी को 7 पाकिस्तानी घुसपैठियों को मारा था। इसके बाद 13 फरवरी को भी पाकिस्तान सैनिकों के सीजफायर तोड़ने की खबर आई थी। हालांकि सेना ने इसका खंडन भी किया था।
फरवरी में ही 4 गोलीबारी की घटनाएं
सबसे पहले 4 और 5 फरवरी की आधी रात को पुंछ जिले के कृष्णा सेक्टर में नियंत्रण रेखा के पार से ही भारतीय सीमा में घुसपैठ का प्रयास किया गया। 8 फरवरी को राजौरी के केरी सेक्टर में कंट्रोल बॉर्डर के पास से सेना के गश्ती दर पर गोलीबारी हुई थी। फिर 10 फरवरी को राजौरी जिले के नौशेरा सेक्टर में कालल इलाके की अग्रिम चौकी पर तैनात सैनिक को सीमा पार से गोली मारी गई। वहीं, 11 फरवरी को जम्मू-कश्मीर के अखनूर सेक्टर में एलओसी के पास हुए आईडी ब्लास्ट में कप्तान के साथ दो भारतीय सैनिक शहीद हो गए थे।
सीजफायर उल्लंघन पर हुई चर्चा
जब भी सीमा पर तनाव बढ़ता है, दोनों देशों के बीच फ्लैग मीटिंग आयोजित की जाती है। यह बैठक तनाव को शांत करने का एक प्रयास होती है, इसमें दोनों देशों के सैनिक अपने-अपने देशों का झंडा लेकर सीमा पर मिलते हैं और अपनी-अपनी बातें रखते हैं। इस बैठक में एलओसी पर पाकिस्तान की तरफ से किए गए सीजफायर उल्लंघन पर चर्चा हुई और तनाव कम करने के उपायों पर भी विचार किया गया है।